सोमवारी २२ जानेवारीला अख्खा देश राममय झाला असताना राज्यातील ज्येष्ठ काँग्रेस नेते प्रभू श्री रामाच्या नामात रंगून गेले नाहीत, तरच नवल. माजी मुख्यमंत्री अशोक चव्हाण (former chief minister Ashok Chavan), माजी मंत्री बाळासाहेब थोरात (Balasaheb Throat), मुंबई काँग्रेसच्या आजी-माजी अध्यक्षा वर्षा गायकवाड (Varsha Gaikwad), भाई जगताप (Bhai Jagtap) यांनी सोमवारी समाजमाध्यमांवरून रामनामाचा जप केला. (Congress)
व्हिडीओ पोस्ट
चव्हाण यांनी ‘रघुपति राघव राजा राम पतित पावन सीता राम ईश्वर अल्लाह तेरो नाम सबको सन्मति दे भगवान’ ही प्रार्थना ऐकवणारा एक व्हिडीओ (video) ‘X’ वरून पोस्ट केला. (Congress)
राहुल गांधीच्या न्याययात्रेत रामनाम
थोरात यांनीही काँग्रेसवासी असलो तरी हिंदू असल्याचे दाखवून ‘रघुपति राघव राजा राम, पतित पावन सीता राम, ईश्वर अल्लाह तेरो नाम, सबको सन्मति दे भगवान!’ असा संदेश पोस्ट केला. तसेच काँग्रेस नेते राहुल गांधी (Rahul Gandhi) यांच्या न्याययात्रेतील (Nyay Yatra) कार्यकर्ते रामनामाच्या प्रार्थनेत मग्न असलेला एक व्हिडीओ पोस्ट केला. (Congress)
श्री राम और माता सीता के जीवन का संदेश
मुंबई काँग्रेस अध्यक्षा वर्षा गायकवाड यांनी प्रभू श्री रामाचा एक फोटो आणि त्यावर संदेश असलेली पोस्ट केली. ज्यावर लिहिले होते: ‘राम राज्य क्या है? जहां परिवार और राज्य की रक्षा के लिए सत्ता का त्याग किया जाता है। जहां जंगल में रहनेवाली शबरी के झूठे बेर भी एक राजा खा लेता है। जहां अन्याय सहन नहीं किया जाता पर नफरत व्यक्ति से नहीं उसके बुरे कर्मों से की जाती है। जहां एक धोबी भी राजा के निर्णयों पर सवाल उठा सकता है, बिना किसी बुरे अंजाम के। जहां स्वयं गलती करने पर राजा खुद अपने आप को भी सज़ा देता है। जहां प्रेम, सद्भाव, बंधुता और न्याय के दिये जलते हैं। जहां मर्यादाओं का पालन और जनता का हित सर्वोच्च है। जहां राज्यकर्ताओं के दिलों में जनता के लिए सीता का वात्सल्य हो। आज रामलला के ‘प्राण प्रतिष्ठा’ वाले दिन भगवान श्री राम और माता सीता से यही प्रार्थना है कि सबको सन्मति दें ताकि हम देश को ऐसे एक राम राज्य की तरफ ले चलें जहां गरीबों और किसानों को उनका हक़ मिले, औरतों को सम्मान मिले, कोई पिछड़ा न रहे, सबको समान न्याय मिले। राम साहस हैं, राम संगम हैं, राम संयम हैं, राम सहयोगी हैं, राम हम सबके हैं। उन्होंने न कभी कोई भेद भाव किया, न ही वे कर्तव्य पथ से कभी डगमगाए। हर मुश्किल का सामना संयम से किया, सब को सिर्फ प्रेम ही दिया, हमेशा न्याय का पक्ष लिया। उम्मीद है आज से भगवान श्री राम और माता सीता के जीवन का यही संदेश हम सब याद रखें। जय सियाराम’ (Congress)
राम राज्य क्या है?
जहां परिवार और राज्य की रक्षा के लिए सत्ता का त्याग किया जाता है।
जहां जंगल में रहनेवाली शबरी के झूठे बेर भी एक राजा खा लेता है।
जहां अन्याय सहन नहीं किया जाता पर नफरत व्यक्ति से नहीं उसके बुरे कर्मों से की जाती है।
जहां एक धोबी भी राजा के निर्णयों पर सवाल… pic.twitter.com/5Riob3SG4A— Prof. Varsha Eknath Gaikwad (@VarshaEGaikwad) January 22, 2024
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काल, आज, उद्या हिंदूच
भाई जगताप यांनी तर थेट ‘मी कालही हिंदू (Hindu) होतो, आजही हिंदू आहे, उद्याही हिंदूच राहणार.’ अशी पोस्ट लिहून आपण हिंदू आहोत याची आठवण करुन दिली. त्याचप्रमाणे “यदा यदा हि धर्मस्य ग्लानिर्भवति भारत । अभ्युत्थानमधर्मस्य तदात्मानं सृजाम्यहम् परित्राणाय साधूनां विनाशाय च दुष्कृताम् । धर्मसंस्थापनार्थाय सम्भवामि युगे युगे” हा श्लोक लिहीत ‘जय सिया राम’ने पोस्टचा शेवट केला. (Congress)
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